गोरखपुर जोन में रातभर चला सघन अभियान: 178 वारण्टी-वांछित गिरफ्तार, 383 पर बीएनएसएस के तहत कार्रवाई
गोरखपुर जोन में रातभर चले विशेष अभियान में 178 वारण्टी और वांछित अपराधी गिरफ्तार, 383 व्यक्तियों पर बीएनएसएस के तहत कार्रवाई। एडीजी मुथा अशोक जैन ने अभियान को बताया सफल।
गोरखपुर। कानून-व्यवस्था को मजबूत बनाने और अपराधियों पर सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए गोरखपुर जोन में शनिवार की रात विशेष सघन अभियान चलाया गया। अपर पुलिस महानिदेशक गोरखपुर जोन, मुथा अशोक जैन के निर्देशन में यह अभियान देर रात से लेकर सुबह तक जारी रहा। अभियान में बड़ी संख्या में पुलिसकर्मियों, एसओजी टीम, महिला पुलिस तथा थानास्तर की कई टुकड़ियों को तैनात किया गया।
अभियान के दौरान जोन के सभी जिलों—गोरखपुर, देवरिया, कुशीनगर, महाराजगंज, सिद्धार्थनगर और बस्ती—में पुलिस ने ताबड़तोड़ दबिश दी। इस सघन कार्रवाई में कुल 178 वारण्टी और वांछित अपराधियों की गिरफ्तारी की गई। पकड़े गए अभियुक्तों में 04 वसूली वारण्टी, 136 सामान्य वारण्टी और 38 वांछित अपराधी शामिल रहे। सभी आरोपियों को आवश्यक विधिक प्रक्रिया के बाद जेल भेज दिया गया।
इसके साथ ही पुलिस ने बीएनएसएस (Bharatiya Nyaya Sanhita) के तहत भी सख्त कदम उठाए। कुल 193 मामलों में 383 व्यक्तियों के विरुद्ध कार्रवाई की गई। इसमें सड़क पर अवैध कब्जा, नियम उल्लंघन, सार्वजनिक स्थानों पर अव्यवस्था फैलाने जैसे प्रकरण शामिल रहे। अधिकारियों के मुताबिक यह अभियान केवल वारण्टी पकड़ने का ही नहीं, बल्कि समग्र कानून-व्यवस्था को नियंत्रण में रखने का प्रयास था।
अपर पुलिस महानिदेशक मुथा अशोक जैन ने अभियान की समीक्षा करते हुए संतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि अपराधियों में भय का माहौल बनाना और जनता में सुरक्षा की भावना मजबूत करना पुलिस की सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने बताया कि लंबे समय से फरार चल रहे कई आरोपी इन दबिशों के दौरान गिरफ्तार हुए, जिससे कई पुराने मामलों के निस्तारण का मार्ग भी प्रशस्त होगा।
उन्होंने सभी जनपदों की पुलिस टीमों की मेहनत की सराहना करते हुए कहा कि आगे भी ऐसे अभियान नियमित रूप से चलाए जाएंगे, ताकि अपराधियों पर लगातार शिकंजा कसता रहे। रातभर चले अभियान में कई स्थानों पर पुलिस ने चेकिंग लगाई, संदिग्ध व्यक्तियों से पूछताछ की और कई ठिकानों पर दबिश देकर फरार आरोपियों को पकड़ा।
पुलिस प्रशासन ने आम नागरिकों से अपील की है कि वे किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस कंट्रोल रूम या स्थानीय थाने को दें। ऐसी जानकारी कानून-व्यवस्था को मजबूत बनाने में बेहद महत्वपूर्ण होती है।