सरकारी अस्पताल में डॉक्टर ही बेच रहा है बाहर की दबाएं

सरकारी अस्पताल में डॉक्टर ही बेच रहा है बाहर की दबाएं

निष्पक्ष जन अवलोकन। मनीष सिंह जादौन उरई(जालौन)माधौगढ़, सरकार के लाख प्रयास की बावजूद चिकित्सा विभाग पर अधिकारियों का कोई नियंत्रण न हो पाने के कारण चिकित्सक मनमर्जी के मालिक होकर मरीज से पैसा ऐंठने के लिए गैर जरूरी जांच एवं लोकल दावों को बेचकर लोगों के जीवन से खिलवाड़ कर रहे हैं। उक्त आशय का एक मामला सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र माधौगढ़ पर जमकर वायरल हो रहा है जहां चिकित्सक द्वारा मरीज के लिए बाहर की दवा का पर्चा लिखना एवं तीमारदार द्वारा बाहर के मेडिकल स्टोर से दवा लाकर डॉक्टर को दिखाने पर डॉक्टर द्वारा उसे लोकल बताने एवं पैसा लेकर अपनी अलमारी से दवा निकाल कर देने एवं मरीज को उस दवा से कोई लाभ न मिलने पर विवाद किए जाने का मामला प्रकाश में आया है। प्राप्त विवरण के अनुसार बुधवार को सुबह प्रातः 7:00 बजे माधौगढ़ निवासी एक महिला मरीज (विनीता तोमर) सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र माधौगढ़ पर अपने परिजन के साथ आई तब ड्यूटी पर तैनात डॉक्टर हरिश्चंद्र ने उसे पर्चा लेकर मेडिकल स्टोर से दवा लाने को कहा, तीमारदार द्वारा मेडिकल स्टोर से दवा लाकर डॉक्टर हरिश्चंद्र को दिखाई गई तो उन्होंने उसे लोकल बढ़कर वापस कर आने एवं पैसा लेकर अपने पास से दवा देने को कहा मरीज की स्वीकृति मिलने पर डॉक्टर ने रुपया लेकर अपनी अलमारी से दवा निकालकर मरीज को दे दी जिस दवा से कोई लाभ न मिलने पर महिला मरीज व उनके पुत्र शनि तोमर एवं डॉक्टर के बीच जमकर नोक झोंक हुई ।आश्चर्यजनक यह है कि क्या सरकारी अस्पतालों में ऐसी कोई दवा नहीं है जो मरीज को ठीक कर सके अथवा डॉक्टर को अपनी सरकारी दवाओं पर विश्वास नहीं है ? एक विषय यह भी है कि इन सरकारी चिकित्सकों की अलमारी में विक्रय किए जाने के लिए दवा उपलब्ध क्यों रहती है । हालांकि इस विषय पर किसी विभागीय उच्चाधिकारी से वर्जन नहीं लिया गया है क्योंकि वहां भी वही रटा रटाया जवाब मिलने की संभावना है की शिकायत मिलने पर जांच करवा कर दोषी पाए जाने पर कार्रवाई की जाएगी।